Saturday, April 12, 2025
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उत्तराखण्ड को विगत 30 सितंबर, 2023 को आयोजित जनपदीय सडक सुरक्षा समिति की बैठक का हवाला देते हुए पत्र के माध्यम से विस्तार से अवगत कराया

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Vijaya Dimri
Vijaya Dimrihttps://bit.ly/vijayadimri
Editor in Chief of Uttarakhand's popular Hindi news website "Voice of Devbhoomi" (voiceofdevbhoomi.com). Contact voiceofdevbhoomi@gmail.com

जिलाधिकारी / अध्यक्ष सडक सुरक्षा समिति श्री धीराज सिंह गर्व्याल ने जनपद हरिद्वार में ई-रिक्शा संचालन को प्रतिबंधित एवं नियमित किये जाने के सम्बन्ध में परिवहन आयुक्त, उत्तराखण्ड को विगत 30 सितंबर, 2023 को आयोजित जनपदीय सडक सुरक्षा समिति की बैठक का हवाला देते हुए पत्र के माध्यम से विस्तार से अवगत कराया है कि जनपदीय सडक सुरक्षा समिति की बैठक में विश्लेषण करने पर पाया गया कि वर्तमान में जनपद हरिद्वार में 8603 ई-रिक्शा, 6624 ऑटो एवं 2518 बसें संचालित है तथा वर्ष 2023 में अद्यतन 1365 ई-रिक्शा का पंजीकरण किया जा चुका है, जिनकी संख्या प्रतिवर्ष बढती जा रही है। उन्होंने स्थिति स्पष्ट करते हुए लिखा है कि ई-रिक्शा / ऑटो का जनपद में मुख्य रूप से संचालन रेलवे स्टेशन / बस स्टेशन की 4-5 कि०मी० परिधि वाले क्षेत्र में किया जा रहा है, जो कि घनी आबादी वाला ऐसा क्षेत्र है, जिसमें प्रतिदिन लाखों की संख्या में श्रृद्धालु आते हैं, जिससे प्रायः जाम की स्थिति बनी रहती है। अत्यधिक संख्या में ई-रिक्शा के संचालन से सड़कों पर न केवल जाम की स्थिति बन रही है, अपितु काफी संख्या में दुर्घटनाएं भी घटित हो रही हैं, जिनमें यात्री भी चोटिल हो रहे हैं।

जिलाधिकारी ने बैठक में लिये गये निर्णयों-
जनपद हरिद्वार में आगामी 01 वर्ष हेतु ई-रिक्शा के पंजीकरण पर पूर्ण रूप से रोक लगा दी जाय, परिवहन एवं पुलिस विभाग की सहायता से 03 वर्ष से अधिक समय से संचालित ई-रिक्शा को चिन्हित कर उनका फिटनेस परीक्षण किया जाय तथा क्रमबद्ध रूप से प्रतिवर्ष निर्धारित संख्या में वाहनों को ऑफ रोड किया जाय, हरिद्वार जनपद में यात्रियों एवं सिडकुल कर्मियों की बड़ी संख्या के दृष्टिगत रूट निर्धारित कर इलेक्ट्रिक बसों के संचालन को प्रोत्साहन किया जाय, ई-रिक्शा के पंजीकृत स्वामी द्वारा ही वाहन संचालन किया जाय तथा परिवहन विभाग द्वारा यह सुनिश्चित किया जाय कि 01 व्यक्ति के नाम पर 01 ही ई-रिक्शा पंजीकृत हो, ई-रिक्शा के रजिस्ट्रेशन हेतु वैध आय प्रमाण पत्र अनिवार्य किया जाय तथा निम्न आय वर्ग के व्यक्तियों के वाहन जो जीविकोपार्जन हेतु खरीदें गये हैं, उन्हें ही अनुमति प्रदान की जाय, ई-रिक्शा के रजिस्ट्रेशन में स्थानीय निवासियों को प्राथमिकता दी जाय तथा अनिवार्यत: पुलिस वैरिफिकेशन करवाया जाय, ई-रिक्शा के चालकों हेतु विशिष्ट श्रेणी के लाईसेंस निर्गत किये जायें तथा व्यावसायिक चालकों के समान प्रशिक्षण प्राप्त करने के उपरान्त ही लाइसेंस निर्गत किये जायें, विशेष मेलों एवं धार्मिक अवसरों पर सड़कों पर अत्यधिक संख्या में ई-रिक्शा / ऑटो / विकम / संचालन के कारण यातायात व्यवस्था पूर्ण रूप से बाधित हो जाती है, इसके दृष्टिगत इन अवसरों पर इन वाहनों की ऑड ईवन नम्बरों के आधार पर संचालित करने पर विचार किया जाय, की विस्तृत जानकारी परिवहन आयुक्त, उत्तराखण्ड को देते हुए जनपद हरिद्वार में ऑटो / ई-रिक्शा वाहनों के संचालन के नियमितीकरण हेतु अनिवार्य रूप से ये व्यवस्थायें किए जाने हेतु सम्बन्धित को निर्देशित करने का अनुरोध किया है l

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